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केदारनाथ यात्रा की सौंदर्य दृश्य

केदारनाथ मंदिर की यात्रा करने वक्त सौंदर्य दृश्य की कुछ जानकारी

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केदारनाथ यात्रा (kedarnath yatra) की सौंदर्य दृश्य आपको केदारनाथ यात्रा करने के दौरान दिखता है, जो की बहुत ही मनमोहक दृश्य होता है, जिसकी यात्रा सब करना तो चाहते है, पर उनकी कुछ मजदूरी के कारण वो केदारनाथ की यात्रा नही कर पाते है, जिस से वो अपनी जीवन मे एक बहुत अच्छा दृश्य देखने से चूक जाते है, जिस से उन्हे अपनी ज़िंदगी मे कुछ कमी सा लगता है, क्योंकि वो ज़िंदगी की एक अनोखी दृश्य देखने से चूक जाते है, क्योंकि वो अपनी पूरी ज़िंदगी बस सीमेंट की बनी सुंदरता को देखते ही आए, जिस से उनके जीवन मे केदारनाथ यात्रा की सौंदर्य दृश्य बहुत ही, महत्व रखता है, केदारनाथ की यात्रा करने के लिए सबसे पहले आपको अपना पंजीकरण कराना परता है, जिस से आप यात्रा करने के लिए तैयार हो जाते हो, केदारनाथ यात्रा की पंजीकरण कराने के लिए आप सरकारी वैबसाइट से अपना पंजीकरण कर सकते हो, पंजीकरण कराना बहुत जरूरी होता इसके बिना आप केदारनाथ यात्रा करने के नही जा सकते हो। 

केदारनाथ मंदिर गढ़वाल मे स्थित है, जो की समुद्र की स्तर से 3582 मिटर की ऊंचाई पे स्थित है, जो की भगवान शिव को समर्पित है, जहाँ पे भगवान शिव की पीठ की आराधना की जाती है, जो की पंच केदार (panch kedar) का एक अहम हिस्सा है, पंच केदार पांडव द्वारा निर्माण किया गया था, क्योंकि ने एक बहुत बड़ा पाप किया था, उसके प्रयाश्चित करने के लिए पांडव ने पंच केदार का निर्माण किया, जो की पाँच हिस्सों मे बाँट गया, और उस मे से एक केदारनाथ मंदिर एक महत्वपूर्ण धाम है, साथ ही केदारनाथ मंदिर 12 ज्योतृलिंगा (12 jyotrilinga), दोधाम यात्रा (dodham yatra) और छोटा चारधाम यात्रा (chardham yatra) की एक अहम हिस्सा है।

केदारनाथ यात्रा के लिए हर वर्ष लाखों की शंख्या मे भक्त आते है, क्योंकि केदारनाथ मंदिर 6 माह के लिए ही खुलते है, जिसके कारण भक्तों को यात्रा करने मे काफी सारे तकलीफ़ों का सामना परता है, जिसके वजह से उन्हे अपनी केदारनाथ की यात्रा मे केदारनाथ यात्रा पैकेज (kedarnath yatra package) का उपयोग करना परता है, जिस से उनकी यात्रा मे काफी आराम मिले और वो अपनी केदारनाथ यात्रा को मंगलमय पूरा सके और वो भगवान शिव के दर्शन आराम से कर सके। 

केदारनाथ मंदिर की यात्रा गौरीकुण्ड से शुरू हो जाती है, जहाँ से सौंदर्य दृश्य दिखने लगती है, गौरीकुण्ड से 16 किलोमीटर का पैदल दुर्गम चढ़ाई शुरू हो जाती है, केदारनाथ की यात्रा एक बहुत ही दुर्गम यात्रा मे से आता है, क्योंकि उसके यात्रा मे आपको बहुत सारी तकलीफ़ों का सामना करना परता है। 

गौरीकुण्ड मे एक गर्म कुंड है, जो की माता पार्वती के नाम पे रखा हुआ है, इस कुंड की अपनी अलग कथा है, की जब भगवान गणेश सर को भगवान शिव के द्वारा अलग कर दिया गया था, जिस के बाद भगवान शिव ने भगवान गणेश को वरदान दिये थे, की आज के बाद इस जग मे सबसे पहले तुम पूजे जयोगे, और तभी से ही भगवान गणेश को सबसे पहले पुजा जाता है। 

गौरीकुण्ड की अपनी अलग मान्यता है, की अगर आप इस कुण्ड मे स्नान करते हो तो आपका सारे, कस्ट और दुख दूर हो जाएगे, क्योकि इस गौरीकुण्ड पे माता पार्वती का आशीर्वाद है, जिस के वजह से भक्त इस कुण्ड मे स्नान मे करना पसंद करते है, और जिस से सही मे उनके सारे दुख और पीड़ा का नाश हो जाता, और साथ मे उन्हे यात्रा के दौरान जो भी पीड़ा हुआ था, उन सभी का अंत हो जाता है। 

केदारनाथ मंदिर मे आपको ऐसे बहुत से सौंदर्य दृश्य देखने को मिलती है, जो की हमारे पूर्वोजों के द्वारा बनाया गया है, जैसे केदारनाथ मंदिर का निर्माण तो पांडव ने करवाया था, पर आठवी शताबदी मे आदि शंक्र्यचार्य ने इस मंदिर का दोबारा निर्माण करवाया था, जो की बाद मे उन्होने वही समाधि ले लिए थे, और भक्तों ने उनकी समाधि को वही स्थापित करवा दिया, जिसे आज हमलोग आदि शंकर्यचर्या समाधि के नाम से जानते है, इसके अलावा आपको वहाँ बहुत अनोखी चीज़ों को देखने को मिलता है, जिसको आप अपने सपने मे भी नही सोच सकते हो। 

केदारनाथ मंदिर की यात्रा मे आपको केवल सौंदर्य दृश्य ही नही देखने को मिलता है, इसके साथ आपको कई सारी प्राचीन कथा सुनने को मिलता है, जिस से आपके ज्ञान मे बढ़ोतरी होती है, जिसके कारण आप आपने जीवन के निर्णय लेने मे कोई तकलीफ न आए, और आप अपने जीवन मे आसानी से निर्णय ले सके और आपको अपने जीवन मे जो भी करना है, उसके तरफ आप आसानी से जा सके। 

केदारनाथ यात्रा के दौरान आपको बर्फ की ओढ़ी चादर हिमालय दिखती है, जो की बहुत ही पसंदीदा होता है। 

केदारनाथ धाम हिन्दू धर्म के लिए बहुत ही महत्वपूर्ण स्थल है, क्योंकि केदारनाथ धाम हमारे जीवन को बदलने के ताकत रखता है, जिसे हमलोग स्वर्ग जाने का रास्ता भी कहते है, क्योंकि पांडव स्वर्ग जाने के लिए भी यही रास्ता अपनाया था, और साथ ही केदारनाथ मंदिर जा कर आपको ऐसा महसूस होता है, की स्वर्ग मे हो क्योंकि वहाँ के पवित्र पर्वत को देख कर ऐसा लगता है, की जैसे आप स्वर्ग मे ही हो। 

abhishekraj004

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